घाटी में 4-जी इंटरनेट सेवा शुरू करने से सुप्रीम कोर्ट का इनकार, कमिटी गठित
जम्मू-कश्मीर में 4-जी इंटरनेट सेवा बहाल करने से सुप्रीम कोर्ट ने इनकार कर दिया है. सर्वोच्च अदालत ने इस विवाद के पेंच समझने के लिए एक हाई पॉवर कमिटी का गठन करने का आदेश दिया है. इस कमिटी में गृह मंत्रालय और संचार मंत्रालय के अफ़सरों के अलावा जम्मू-कश्मीर के चीफ सेक्रेटरी भी शामिल होंगे.
सुप्रीम कोर्ट ने अपने आदेश में कहा, ‘राष्ट्रीय सुरक्षा और मानवाधिकारों में संतुलन क़ायम रहना चाहिए. महामाहरी के दौरान लोगों की ज़रूरतों को ध्यान में रखते हुए अदालत विशेष समिति का गठन कर रही है. गृह मंत्रालय के सचिव की अगुवाई में उच्च स्तरीय कमिटी स्थिति का आकलन कर फैसला लेगी.’
वीडियो देखिए सुप्रीम कोर्ट में केन्द्र सरकार की दलील थी कि 4-जी इंटरनेट सेवा चालू करने से घाटी में आतंकी गतिविधियां बढ़ेंगी लेकिन याचिकाकर्ता ऐसा नहीं मानते. याचिकाकर्ताओं का तर्क था कि 90 के दशक में जम्मू-कश्मीर में चरमपंथ अपने चरम पर था और उस वक़्त 4-जी इंटरनेट सेवा नहीं थी. याचिकाकर्ताओं में पत्रकारों और डॉक्टरों की टीम शामिल है जिसमें कहा गया है कि 2-जी इंटरनेट सेवा के कारण बच्चों की पढ़ाई, बिज़नेट और अन्य ज़रूरतें ठप हैं. अब कोर्ट की ओर से गठित उच्चस्तरीय कमिटी हालात का ज़िलेवार जायज़ा लेने के बाद रिपोर्ट तैयार करेगी जिसपर अंतिम फैसला होगा. ये भी देखिए
वीडियो देखिए सुप्रीम कोर्ट में केन्द्र सरकार की दलील थी कि 4-जी इंटरनेट सेवा चालू करने से घाटी में आतंकी गतिविधियां बढ़ेंगी लेकिन याचिकाकर्ता ऐसा नहीं मानते. याचिकाकर्ताओं का तर्क था कि 90 के दशक में जम्मू-कश्मीर में चरमपंथ अपने चरम पर था और उस वक़्त 4-जी इंटरनेट सेवा नहीं थी. याचिकाकर्ताओं में पत्रकारों और डॉक्टरों की टीम शामिल है जिसमें कहा गया है कि 2-जी इंटरनेट सेवा के कारण बच्चों की पढ़ाई, बिज़नेट और अन्य ज़रूरतें ठप हैं. अब कोर्ट की ओर से गठित उच्चस्तरीय कमिटी हालात का ज़िलेवार जायज़ा लेने के बाद रिपोर्ट तैयार करेगी जिसपर अंतिम फैसला होगा. ये भी देखिए
Latest Videos