वर्ल्ड बैंक का मोदी सरकार को तगड़ा झटका, विकास दर का अनुमान घटाकर किया 5%
देश को आर्थिक मोर्चे पर झटके मिलना जारी है। अब वर्ल्ड बैंक ने वित्त साल 2019-20 में जीडीपी यानि विकास दर 5 फीसदी रहने का अनुमान लगाया है जोकि बांग्लादेश की विकास दर से भी कम है। तीन महीने पहले जारी आंकड़ों में वर्ल्ड बैंक ने विकास दर 6 फीसदी रहने का अनुमान लगाया था।
देश की अर्थव्यवस्था कमजोर होने का ताज़ा संकेत वर्ल्ड बैंक से आया है। अब विकास में भारत बांग्लादेश से भी पिछड़ता दिखाई दे रही है। वर्ल्ड बैंक के मुताबिक मार्च 31 को ख़तम होने वाले वित्त वर्ष 2019-20 में जहा भारत की विकास दर 5 फीसदी रहने का अनुमान है, वही बांग्लादेश की विकास दर 7.2 रहने का अनुमान है। वर्ल्ड बैंक के मुताबिक भारत में विकास दर का एक कारण गैर वित्त कम्पनिओ में क़र्ज़ लेन-देन में कमज़ोरी रहना है। हालांकि, अगले वित् वर्ष में विकास दर सुधरकर 5.8 रहने का अनुमान है। वर्ल्ड बैंक के मुताबिक इस साल विकास दर बांग्लादेश में 7.2, भारत में 5, श्री लंका में 3.3, पाकिस्तान में 3 फीसदी रहने का अनुमान है।
देश की अर्थव्यस्था की हालत दिन प्रतिदिन पतली होती जा रही है।मंगलवार को जारी हुए सरकारी आंकड़ों के मुताबिक देश की विकास दर वित्त वर्ष 2019-20 में 5 फीसदी रहने का अनुमान है। साल 2018-19 में यही दर 6.8 फीसदी थी। इसके अलावा निवेश वृद्धि दर 0.97 रहने का अनुमान है, जोकि पिछले 15 सालो में सबसे कम है। मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर में ग्रोथ रेट केवल 2 फीसदी रहने का अनुमान है। पिछले वर्ष ये दर 6.9 फीसदी थी। वीडियो देखिये कृषि विकास दर 2.8, खनन 1.5, बिजली-गैस-पानी जैसी ज़रूरी सेवाएं 5.4, निर्माण क्षेत्र 3.2, कारोबार-होटल-यातायात जैसी सेवाएं 5.9 की विकास दर से बढ़ने का अनुमान है। यानि सभी कोर सेक्टर भारी मंदी से जकड़े हुए है। अब अगर ग्रोथ रेट का लुढ़कना जारी रहता है तो मानकर चलिए आने वाले दिनों में आपकी जेब पर बुरा असर पड़ेगा।
देश की अर्थव्यस्था की हालत दिन प्रतिदिन पतली होती जा रही है।मंगलवार को जारी हुए सरकारी आंकड़ों के मुताबिक देश की विकास दर वित्त वर्ष 2019-20 में 5 फीसदी रहने का अनुमान है। साल 2018-19 में यही दर 6.8 फीसदी थी। इसके अलावा निवेश वृद्धि दर 0.97 रहने का अनुमान है, जोकि पिछले 15 सालो में सबसे कम है। मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर में ग्रोथ रेट केवल 2 फीसदी रहने का अनुमान है। पिछले वर्ष ये दर 6.9 फीसदी थी। वीडियो देखिये कृषि विकास दर 2.8, खनन 1.5, बिजली-गैस-पानी जैसी ज़रूरी सेवाएं 5.4, निर्माण क्षेत्र 3.2, कारोबार-होटल-यातायात जैसी सेवाएं 5.9 की विकास दर से बढ़ने का अनुमान है। यानि सभी कोर सेक्टर भारी मंदी से जकड़े हुए है। अब अगर ग्रोथ रेट का लुढ़कना जारी रहता है तो मानकर चलिए आने वाले दिनों में आपकी जेब पर बुरा असर पड़ेगा।
Latest Videos