तिनसुकिया: ऑयल फील्ड में लगी आग अब तक कितनी तबाही मचा चुकी है?
असम के बाघजान ऑयल फील्ड में 17 दिनों से लगी आग से भारी तबाही मची है. बड़े पैमाने पर जलीय जीव जंतु, जानवर और पक्षी इस भीषण आग की चपेट में आकर मर चुके हैं. इस ऑयल फील्ड के नज़दीक ही डिब्रू-सैखोवा नेशनल पार्क और मागुरी-मोटापुंग वेटलैंड है जहां पर्यावरण और पारिस्थितकी को हुए नुकसान की भरपाई शायद कभी नहीं हो पाएगी.
पर्यावरण के मुद्दों पर काम करने वाले रंजन दास के मुताबिक प्रभावित ज़मीनों पर अब दोबारा खेती होने की संभावना नहीं है. इस इलाक़े में ज़्यादातर लोग चाय की खेती से जुड़े हुए हैं लेकिन चाय के बाग़ान पूरी तरह बर्बाद हो चुके हैं. रंजन दास के मुताबिक तबाही का सही अंदाज़ा अभी भी नहीं लगाया जा सकता क्योंकि आग की लपटें अभी भी उठ रही हैं.
वीडियो देखिए तिनसुकिया ज़िले की महिला किसान लावण्या बोरान ने बताया कि उनकी चाय और सुपारी की फसलें तबाह हो गईं. उन्होंने कहा कि चाय की पत्तियां पौधों से अपने आप झड़ रही हैं.
वीडियो देखिए तिनसुकिया ज़िले की महिला किसान लावण्या बोरान ने बताया कि उनकी चाय और सुपारी की फसलें तबाह हो गईं. उन्होंने कहा कि चाय की पत्तियां पौधों से अपने आप झड़ रही हैं.
ऑयल फील्ड के एक कुंए में लगी आग को क़ाबू करने के लिए सिंगापुर, कनाडा और अमेरिका से विशेषज्ञ बुलाए गए हैं. माना जा रहा है कि चार हफ्तों में आग पर पूरी तरह क़ाबू कर लिया जाएगा लेकिन सबसे बड़ा सवाल यहां हुए पर्यावरणीय नुकसान है. कहा जा रहा है कि इसकी भरपाई होना अब मुश्किल है.Assam: Farmers say their crops damaged as condensed gas falls in villages near the site of an oil well fire at Baghjan in Tinsukia district. Lavanya Moran, a farmer says, "Our crops of tea & areca nut have been damaged due to the gas leak. Tea leaves are falling from the plants". pic.twitter.com/gNF5U5XeAY
— ANI (@ANI) June 12, 2020
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